लोकसभा में विपक्ष के नेता और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की समस्याओं को लेकर केंद्रीय महिला एवं बाल विकास मंत्री अन्नपूर्णा देवी को चिट्ठी लिखी है। उन्होंने केंद्रीय मंत्री से आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की समस्याओं का समाधान करने का आग्रह किया। साथ ही केंद्र सरकार से तीन कदम उठाने का अनुरोध भी किया।
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने केंद्रीय मंत्री अन्नपूर्णा देवी को चिट्ठी में लिखा, ”मैंने हाल ही में अखिल भारतीय आंगनबाड़ी कर्मचारी संगठन के एक प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात की और उनके सामने आने वाली चुनौतियों पर चर्चा की। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाएं एकीकृत बाल विकास सेवा (आईसीडीएस) कार्यक्रम की रीढ़ हैं, जो भूख और कुपोषण से लड़ने के साथ-साथ प्री-प्राइमरी शिक्षा प्रदान करके महिलाओं और बच्चों की अथक सेवा करती हैं। कोविड-19 महामारी के दौरान उन्होंने अपने कर्तव्यों से परे जाकर, बहुत ज्यादा व्यक्तिगत जोखिम उठाकर फ्रंटलाइन वर्कर के रूप में काम किया। देश के विकास के लिए अपनी कड़ी मेहनत के बावजूद, आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिका दुर्भाग्यवश अपर्याप्त वेतन, कार्य स्थितियों और सामाजिक सुरक्षा की कमी से जूझ रही हैं।”
उन्होंने आगे लिखा, ”प्रतिनिधिमंडल द्वारा उठाए गए सबसे महत्वपूर्ण मुद्दों में से एक ग्रेच्युटी का भुगतान न किया जाना है। सर्वोच्च न्यायालय द्वारा आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायकों को औपचारिक कर्मचारी के रूप में मान्यता दिए जाने के लगभग तीन साल बीत चुके हैं, जिससे उन्हें ग्रेच्युटी भुगतान अधिनियम, 1972 के तहत ग्रेच्युटी का अधिकार प्राप्त हुआ है। फिर भी भारत सरकार ने इस निर्णय को लागू करने के लिए कोई कदम नहीं उठाया है। मुझे यकीन है कि आप इस बात से सहमत होंगी कि दशकों तक प्रतिबद्धता के साथ काम करने वाली कर्मचारियों को पर्याप्त सेवानिवृत्ति लाभ मिलना चाहिए।













